बेस्ट मोटिवेशन कोट्स भगवत गीता के भगवद गीता एक पवित्र ग्रंथ है जो कालातीत ज्ञान और आध्यात्मिक अंतर्दृष्टि का खजाना है। प्राचीन काल में रचित, भागवत गीता जीवन की चुनौतियों का सामना करने और आंतरिक शांति पाने के लिए एक मार्गदर्शक के रूप में कार्य करती है।
1. बेस्ट मोटिवेशन कोट्स भगवत गीता
2 . सक्सेस कोट्स भगवत गीता
3 . बेस्ट कोट्स
4 . हिंदी कोट्स भगवत गीता
5. बेस्ट पावरफुल मोटिवेशन कोट्स
1 . बेस्ट मोटिवेशन कोट्स भगवत गीता
“जीवन का एक ही सार होता है “श्रीमद्भागवत गीता”, यही सार यदि जीवन का आधार बन जाए तो जीवन सफल बन जाता है”
“ जीवन में यदि खुश रहना है तो अधिक ध्यान उस चीज पर दें, जो आपके पास है उस पर नहीं जो दूसरों के पास है….!!
निंदा से घबराकर अपने
लक्ष्य को कभी न छोड़े,
क्योंकि लक्ष्य मिलते ही निंदा
करने वालों की राय बदल जाती है…!
जो जितना अधिक शांत होता है,
वो उतनी ही गहराई से अपनी
बुद्धि का प्रयोग कर सकता है….!!
ज़रूरी नहीं हर बार आपके
शब्दों को सही समझा जाए,
इसलिए कभी कभी चुप
रहना ही ज़्यादा बेहतर होता है….!!
गलतियां ढूंढना गलत नही है, बस शुरुआत खुद से होनी चाहिए…!
आपको अपने जीवन में
कर्म की इच्छा होनी चाहिए
न की कर्म से मिलने वालो फ्लो की….!!
सफलता कोई बाहरी वस्तु नही है
बल्कि जब आप खुद को बेहतर
तरीके से समझ लेते हो
तब आप सफल हो जाते हो…!!
श्रृष्टि का यही नियम है
की जिसका जन्म हुआ है
उसका अंत भी निश्चित होता है…!!!
“ जीवन में सभी आसक्तियो को
भूलकर जो व्यक्ति अपने लक्ष्य
पर ध्यान केन्द्रित करने में सफल हो जाता है
वह वास्तव में सफल होता है…!!!
“ न भूतकाल और न ही
भविष्य की चिंता किये बिना
प्रत्येक व्यक्ति वर्तमान
में जीकर सफल हो सकता है…!!!
इस तरह से अपने लक्ष्य
को साधो की तुम्हे इस दुनिया
में और कोई दूसरी चीज़ दिखे ही न…!!!
“ प्रबुद्ध व्यक्ति के लिए, गंदगी
का ढेर, पत्थर और सोना
सभी समान हैं…!!!
अच्छे कर्म करने के बावजूद भी लोग
केवल आपकी बुराइयाँ ही याद
रखेंगे इसलिए लोग क्या कहते हैं
इस पर ध्यान मत दो तुम अपना
कर्म करते रहो…!!
हे अर्जुन, केवल भाग्यशाली योद्धा ही
ऐसा युद्ध लड़ने का अवसर पाते हैं जो
स्वर्ग के द्वार के सामान है…!!!
“ जिस तरह प्रकाश की ज्योति
अँधेरे में चमकती है ठीक उसी
प्रकार सत्य भी चमकता है
इसलिए हमेशा सत्य की राह
पर चलना चाहिए…!!
“ मन की गतिविधियों, होश
श्वास, और भावनाओं के
माध्यम से भगवान की शक्ति
सदा तुम्हारे साथ है; और
लगातार तुम्हे बस एक साधन
की तरह प्रयोग कर के सभी
कार्य कर रही है…!!!
किसी भी व्यक्ति को
अच्छे से जाने बिना ,
दूसरों की बातें सुनकर
उसके प्रति कोई धारणा
बना लेना मूर्खता है…!!
“ मेरा रथ आपके हाथो में हैं
माधव मेरे जीवन में अंधेरा
हो सकता हैं अंधकार नहीं…!!
“ गीता में स्पष्ट लिखा हैं
निराशा ना हो क्योंकि
कमजोर आपका वक्त हैं आप नहीं…!!
“ सच बोलने का साहस कीजिये,
परिणाम भुगतने की शक्ति परमात्मा देंगे…!!
“ जब मनुष्य अपने जीवन में किसी
एक चुनौती को जीवन का केंद्र मान लेता हैं,
तब वो जीवन में सफलता प्राप्त नहीं कर पाता….!!
2 . सक्सेस कोट्स भगवत गीता
“ माली पौधों में पानी प्रतिदिन देता हैं,
लेकिन फल सिर्फ मौसम में ही आता हैं,
इसलिए जीवन में धैर्य रखे,
हर काम अपने समय पर ही होगा…!!
“ भगवत गीता में कहा गया हैं
कि कर्मो से डरिये, ईश्वर से नहीं
क्योकि ईश्वर माफ कर देता हैं
लेकिन कर्म कभी माफ नहीं करता…!!
“ शिक्षा और ज्ञान उसी को मिलता है,
जिसमें जिज्ञासा होती है…!!
“ मनुष्य को जीवन की चुनौतियों से
भागना नहीं चाहिए और न ही
भाग्य और ईश्वर की इच्छा जैसे
बहानों का प्रयोग करना चाहिए…!!
“ जिस मनुष्य के पास सब्र की ताकत है,
उस मनुष्य की ताकत का कोई
मुकाबला नहीं कर सकता….!!!
मनुष्य अपने विश्वास से निर्मित होता है,
जैसा वो विश्वास करता है
वैसा वो बन जाता है…!!
“ जो पैदा हुआ है उसकी मृत्यु भी निश्चित है,
जैसे जो मृत है उनके लिए जन्म,
इसलिए जिसे बदल नहीं सकते
उसके लिए शोक मत करो…!!!
“ जब भविष्य धुंधला पड़ने लग जाता है,
तब आपको अपने वर्तमान में
ध्यान केंद्रित करने की आवश्यकता है…!!!
मैं भूत, वर्तमान और भविष्य के सभी
प्राणियों को जानता हूँ,
किन्तु वास्तविकता में
मुझे कोई नहीं जानता….!!
“ जो अच्छा लगे उसे ग्रहण करो
और जो बुरा लगे उसका त्याग
फिर चाहे वह विचार हो,
कर्म हो या मनुष्य…!!
“ नकारात्मक विचारों का आना तय है,
परंतु यह आप पर निर्भर करता है,
कि आप उन्हें कितना महत्व देते हैं…!!
“ इंसान हमेशा अपने भाग्य को कोसता है
यह जानते हुए भी कि भाग्य से भी
ऊंचा उसका कर्म है, जो स्वयं के हाथों में है…!!
“ मैं किसी का भाग्य
नही बनाता हर कोई अपना
भाग्य खुद बनाता हैं,
आप आज जो भी कर्म कर रहे हों,
उसका फल आपको कल प्राप्त होगा,
और आज जो आपके पास हैं
वह आपके द्वारा पहले
किये गये कर्मों का फल हैं…!!!
“ फल की अभिलाषा छोड़कर
कर्म करने वाला पुरुष ही अपने
जीवन को सफल बनाता है…!!
“ अच्छे कर्म करने के बावजूद भी
लोग केवल आपकी बुराइयाँ ही याद रखेंगे,
इसलिए लोग क्या कहते हैं
इस पर ध्यान मत दो,
तुम अपना कर्म करते रहो…!!
“ गीता में कहा गया है कोई भी
अपने कर्म से भाग नहीं सकता
कर्म का फल तो भुगतना ही पड़ता है…!!
“ कर्म करो फल की
चिंता मत करो…!
“ सत्य कभी दावा नहीं करता कि
मैं सत्य हूं लेकिन झूठ हमेशा
दावा करता हैं कि सिर्फ मैं ही सत्य हूं…!!!
“ निर्णय लेते समय ना ज्यादा
खुश हो ना ज्यादा दुखी हो,
ये दोनो परिस्थितियाँ आपको
सही निर्णय लेने नही देती…!!
3 . बेस्ट कोट्स
“ गलतियां ढूंढना गलत नही है,बस शुरुआत खुद से होनी चाहिए…!!
“ जो होने वाला है वो होकर ही रहता है,
और जो नहीं होने वाला वह कभी नहीं होता,
ऐसा निश्चय जिनकी बुद्धि में होता है,
उन्हें चिंता कभी नही सताती है…!!
“ बुराई बड़ी हो या छोटी हमेशा
विनाश का कारण बनती है,
क्योंकि नाव में छेद छोटा हो या बड़ा
नाव को डुबा ही देता है…!!
अच्छी नीयत से किया गया काम
कभी व्यर्थ नहीं जाता,
और उसका फल
आपको ज़रूर मिलता है…!!
“ मुश्किलें केवल बेहतरीन
लोगों के हिस्से में आती है,
क्योंकि वही लोग उसे बेहतरीन
तरीके से अंजाम देने की ताकत रखते हैं…!!
“ जिसने मन को जीत लिया है,
उसने पहले ही परमात्मा को प्राप्त कर लिया है,
क्योंकि उसने शान्ति प्राप्त कर ली है।
ऐसे मनुष्य के लिए सुख-दुख,
सर्दी-गर्मी और मान अपमान एक जैसे होते है…!!
“ हमेशा याद रखना,
बेहतरीन दिनों के लिए बुरे
दिनों से लड़ना पड़ता है…!!
“ नकारात्मक विचारों का आना तय है
परंतु यह आप पर निर्भर करता है,
कि आप उन्हें कितना महत्व देते हैं…!!
“ मनुष्य नही उसके कर्म अच्छे या बुरे होते हैं.
और जैसे मनुष्य के कर्म होते हैं,
उसे वैसे ही फल की प्राप्ति होती है…!!
“ मैं किसी का भाग्य नही बनाता हर कोई
अपना भाग्य खुद बनाता हैं।
आप आज जो भी कर्म कर रहे हों,
उसका फल आपको कल प्राप्त होगा,
और आज जो आपका (भाग्य लक) हैं
वह आपके द्वारा पहले किये गये कर्मों का फल हैं…!!
“ अच्छी नीयत से किया गया
काम कभी व्यर्थ नहीं जाता,
और उसका फल आपको ज़रूर मिलता है…!!
“ सबसे समझदार और
स्थिर बुद्धि वाला व्यक्ति वही है,
जो सफलता मिलने पर अहंकार
में नहीं आता और विफलता
में गम में नहीं डूब जाता…!!
“ आपकी हार और जीत आपकी
सोच पर निर्भर करती हैं, इसीलिए
मान लो तो हार ही होगी
और ठान लो तो जित ही होगी…!!!
“ समस्या इतनी ताकतवर नहीं
होती जितना की हम उन्हे मान लेते है,
कभी सुना है कि अंधेरे ने
सुबह को होने ही नहीं दीया…!!!
यदि आप अपनी गलतियों से कुछ सीखते हो,
तो गलतियां सीढियां है और नही सीखते है
तो गलतियां सागर है, निर्णय आपका है
चढना है या डूबना है…!!!
“ कोई भी इंसान जन्म से नहीं
बल्कि अपने कर्म से महान बनता है…!!
“ जब उम्मीदें टूटने लगे कोई
रास्ता दिखाई ना दे तो एक
बार भगवद गीता की
शरण जरुर ले लेना…!!
“ आप वापस नहीं जा सकते है
और शुरुआत को नहीं बदल सकते है ,
लेकिन आप जहाँ है
वही से शुरू कर सकते है
और अंत को अवश्य बदल सकते है…!!!
“ परिवार और समाज दोनों
ही बर्बाद होने लगते है,
जब समझदार मौन और
नासमझ बोलने लगते है…!!!
“ बुराई बड़ी हो या छोटी हमेशा
विनाश का कारण बनती है ,
क्योंकि नाव में छेद छोटा
हो या बड़ा नाव को डुबा ही देता है…!!!
“ जो अच्छा लगे उसे ग्रहण करो
और जो बुरा लगे उसका त्याग
फिर चाहे वह विचार हो कर्म हो , या मनुष्य…!!!!
“ विपत्ति में धैर्य , वैभव में दया
और संकट में सहनशीलता ही
श्रेष्ठ व्यक्तियों के लक्षण है…
“ उस दिन हमारी सारी
परेशानियाँ ख़त्म हो जायेगी ,
जिस दिन हमें यकीन हो जाएगा की हमारा
सारा काम ईश्वर की मजी से होता है
“ जिस प्रकार मनुष्य पुराने कपड़ो को त्याग कर
नये कपड़े धारण करता है, उसी प्रकार आत्मा
पुराने तथा व्यर्थ के शरीरों को त्याग
कर नया भौतिक शरीर धारण करता है….
“ खुद को जीवन के योग्य बनाना ही
सफलता और सुख
का एक मात्र मार्ग है…
“ मनुष्य जिस रूप में
ईश्वर को याद करता है,
ईश्वर भी उसे उसी रूप में दर्शन देते हैं…!!
“ जैसे समुद्र के पार जाने के लिये
नाव ही एक मात्र साधन है,
वैसे ही स्वर्ग में जाने के लिये
सत्य ही एक मात्र सिढी है कुछ और नही…
निराश ना होना,
कमजोर तेरा वक्त है, तू नहीं…
अकेले रहना तुम्हें यह भी सिखाता है,
कि वास्तव मे तुम्हारे पास स्वयं के
अलावा और कुछ भी नहीं
तुम इस धरती पर मेहमान हो,
मालिक नहीं इसलिए
अहंकार छोड़ दो
जिस प्रकार सूर्य उगते
ही अंधकार मिट जाता है,
उसी प्रकार सही ज्ञान की प्राप्ति से
अज्ञान का अंत हो जाता है
4 . हिंदी कोट्स भगवत गीता
क्रोध से उत्पन्न होता है मोह और मोह से स्मृति विभ्रम,
स्मृति के भ्रमित होने पर बुद्धि का नाश होता है,
और बुद्धि के नाश होने से वह मनुष्य नष्ट हो जाता है
‘मैं’ श्रेष्ठ हूं, यह आत्मविश्वास है,
लेकिन सिर्फ ‘मैं’ ही श्रेष्ठ हूं,
यह अहंकार है
मनुष्य अपने जीवन में जो भी
कर्म रूपी बीज बोता है,
भविष्य में उसी का फल
उसे प्राप्त होता है
जीवन में बिना किसी कर्म को
किए किसी फल की आशा करना
इंसान की सबसे बड़ी भूल होती है…
जिंदगी में हम कितने सही हैं और
कितने गलत हैं यह केवल दो लोग जानते हैं,
एक परमात्मा और दूसरी हमारी अंतरात्मा
“ जो पुरुष सुख तथा दुख में
विचलित नहीं होता और
इन दोनों में समभाव रहता है,
वह निश्चित रूप से मुक्ति के योग्य है…!!
हमेशा संदेह करने से
खुद का ही नुकसान होता है,
संदेह करने वाले व्यक्ति के लिए
प्रसन्नता न ही इस लोक में है
और न ही किसी और लोक में
निंदा से घबराकर अपने लक्ष्य
को कभी न छोड़े, क्योंकि लक्ष्य
मिलते ही निंदा करने वालों की
राय बदल जाती है
जब इंसान अपने काम में आनंद खोज
लेते हैं तब वे पूर्णता प्राप्त करते है
जब इंसान अपने काम में आनंद खोज
लेते हैं तब वे पूर्णता प्राप्त करते है
ज्यादा खुश होने पर और
ज्यादा दुखी होने पर निर्णय नहीं लेना चाहिए,
क्योंकि यह दोनों परिस्थितियां आपको
सही निर्णय नहीं लेने देती हैं
जो मन को नियंत्रित नही करते है
, उनके लिए वह शत्रु
के सामान कार्य करता है…
जब कोई हाथ और
साथ दोनों ही छोड़ देता है,
तब कुदरत कोई ना कोई उंगली
पकड़ने वाला भेज देता है,
उन्ही का नाम कान्हा है
तुम्हें सिर्फ अपने कर्म करने का अधिकार है,
किन्तु कर्म के फलों के तुम अधिकारी नहीं हो।
तुम न तो क भी अपने आपको अपने कर्मों
के फलों का कारण मानो, न ही कर्म
न करने में कभी आसक्त होओ
किसी काम की चिंता करना ठीक है,
पर चिंता इतनी भी नहीं होनी चाहिए
कि वह काम ही बिगड़ जाए
बदल जाओ वक्त के साथ
या फिर वक़्त बदलना सीखो,
मजबूरियों को मत कोशों
हर हाल में चलना सीखो
जिंदगी खेलती भी उसी के साथ है,
जो खिलाड़ी बेहतरीन होता है,
दर्द सब के एक जैसे है,
मगर हौंसले सबके अलग अलग है,
कोई हताश हो के बिखर जाता है,
तो कोई संघर्ष करके निखर जाता है
समय यही सिखाता है
कि ज़िन्दगी किसी का इंतज़ार
नहीं करती और न ही
किसी के लिए रुक सकती है
हे भरतवंशी ! शरीर में रहने वाले
का वध कभी भी नहीं किया जा सकता।
अतः तुम्हें किसी भी जीव के
लिए शोक करने की आवश्यकता नहीं है
5. बेस्ट पावरफुल मोटिवेशन कोट्स
मनुष्य की मानवता
उसी वक़्त नष्ट हो जाती है,
जब उसे दूसरों के दुःख
पर हँसी आने लगती है
जन्म लेने वाले के लिए मृत्यु
उतनी ही निश्चित है, जितना कि
मृत होने वाले के लिए जन्म लेना
इसलिए जो अपरिहार्य है
उस पर शोक मत करो
सही कर्म वह नहीं है जिसके
परिणाम हमेशा सही हो
अपितु सही कर्म वह है जिसका
उद्देश्य कभी गलत ना हो
सत्य कभी दावा नहीं
करता कि मैं सत्य हूं
लेकिन झूठ हमेशा दावा करता हैं
कि सिर्फ मैं ही सत्य हूं
इंसान हमेशा अपने भाग्य को कोसता है
यह जानते हुए भी कि भाग्य से भी ऊंचा
उसका कर्म है जिसके स्वयं के हाथों में
आप ही अपना मित्र
और आप भी अपना शत्रु है
क्युकी स्वयं का पतन
और उद्धार दोनों
आप निर्धारित करते हैं
“ चुप रहने से बड़ा
कोई जवाब नहीं और
माफ कर देने से बड़ी कोई सजा नहीं…
जो व्यवहार आपको
दूसरो से पसन्द ना हो
ऐसा व्यवहार आप
दूसरो के साथ भी ना करे
जब तक शरीर है
तब तक कमजोरियां तो रहेगी ही
इसलिए कमजोरियों की चिंता छोड़ो
और जो सही कर्म है
उस पर अपना ध्यान लगाओ
मौन सबसे अच्छा उत्तर है
किसी ऐसे व्यक्ति के लिए,
जो आपके शब्दों
को महत्व नही देता है
हे परन्तप !
जो लोग भक्ति में श्रद्धा नहीं रखते,
वे मुझे प्राप्त नहीं कर पाते।
अतः वे इस भौतिक जगत् में जन्म –
मृत्यु के मार्ग पर वापस आते रहते हैं